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हाथरस गैंगरेप केस में सुनवाई के दौरान पीड़ित परिवार ने धमकी दिए जाने का लगाया था आरोप.
लखनऊ: हाथरस गैंगरेप और 20 साल की पीड़िता की मौत मामले में सुनवाई कर रही इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच ने कहा है कि वो इस केस के ट्रायल को हाथरस से बाहर भेज सकती है. कोर्ट की टिप्पणी तब आई है, जब पीड़िता के भाई ने इस एक हलफनामा दाखिल कर बताया था कि इस महीने सुनवाई के दौरान पीड़ित परिवार और उनके वकीलों को धमकियां मिली थीं और उनपर दबाव बनाया जा रहा था.
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कोर्ट ने अपने आदेश में पीड़ित पक्ष की मुख्य कानूनी सलाहकार सीमा कुशवाहा को मिली धमकियों का जिक्र भी किया है. एफिडेविट में कहा गया है कि हाथरस जिला कोर्ट में इस मामले की सुनवाई कर रहे जज को तब सुनवाई स्थगित करनी पड़ी थी, जब तरुण हरि शर्मा नाम का एक वकील कोर्टरूम में घुस गया था और पीड़ित पक्ष की वकील के साथ उग्र होने की कोशिश की थी. वकील ने कुशवाहा पर चिल्ला-चिल्लाकर धमकियां दी थीं. इसमें यह भी कहा गया है कि वकील शराब के नशे में लग रहा था.
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हलफनामें के मुताबिक, उस दिन सुनवाई के दौरान एक बड़ी भीड़ ने, जिसमें कुछ वकील भी शामिल थे, कोर्टरूम में घुस गए और पीड़ित पक्ष के लोगों और उनके वकील को घेरकर धमकाने की कोशिश की थी.
यह देखने के बाद कोर्ट ने तुरंत वकील को कोर्ट परिसर में पुलिस सुरक्षा देने का आदेश दिया था. हलफनामे में बताया गया है कि इसके बाद से वकील कोर्ट में सुनवाई के लिए उपस्थित नहीं हो पाई हैं क्योंकि उनकी सुरक्षा को खतरा है.
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